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घाटे में चल रही सहकारी समितियों को उबारेगी सरकार : डा. धन सिंह

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देहरादून। घाटे में चल रही सहकारी समितियों एवं बैंकों को उबारने के लिए सरकार गंभीर प्रयास करने जा रही है। सहकारिता, उच्च शिक्षा, दुग्ध विकास एवं प्रोटोकॉल राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा. धन सिंह रावत ने तीन सदस्यीय समिति का गठन कर आगामी 25 अगस्त तक इस संबंध में रिपोर्ट निबंधक सहकारिता को प्रस्तुत करने के निर्देश दिये हैं।

 विधानसभा स्थित कार्यालय में सहकारिता राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा. धन सिंह रावत ने सहकारिता विभाग के अंतर्गत जनपद टिहरी एवं पौड़ी गढ़वाल के जिला सहकारी बैंक एवं सहकारी समितियों की समीक्षा की। बैठक में घाटे में चल रही सहकारी समितियों एवं बैंकों की जानकारी लेते हुए विभागीय अधिकारियों को ऐसी समितियों एवं बैंकों का व्यवसाय बढ़ाने के निर्देश दिये। उन्होंने जिला सहाकारी बैंक के अध्यक्ष, महाप्रबंधक व सहायक निबंधक सहकारिता की तीन सदस्यीय समिति गठित कर 25 अगस्त तक इस संबंध में रिपोर्ट निबंधक सहकारिता को प्रस्तुत करने के निर्देश दिये। विशेषकर जिन समितियों के पास अपने भवन नहीं हैं, वार्षिक व्यवसाय एक करोड़ से कम है, जिनकी सदस्यता संख्या 500 किसानों से कम है तथा समितियों में आंकिक एवं सचिव तैनात नहीं हैं उनके समायोजन या बंद करने संबंधी प्रस्ताव मांगे गये हैं। बैठक में जनपदवार समीक्षा करते हुए विभागीय मंत्री ने कहा कि क्षेत्र की आवश्यकतानुसार किसान उत्पादक संगठन (एफपीओ) के प्रस्ताव भी तैयार करें। प्रत्येक एफपीओ में पर्वतीय क्षेत्र में 100 सदस्य जबकि मैदानी क्षेत्र में 300 सदस्यों का होना आवश्यक है। पौड़ी जनपद में तीन सदस्यीय समिति के साथ उत्तराखंड सहाकारी संघ के उपाध्यक्ष मातबर सिंह रावत एवं उत्तराखंड सहकारी रेशम संघ के उपाध्यक्ष दयाल सिंह चौहान भी मौजूद रहेंगे। विभागीय मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना के अंतर्गत सहकारी बैंक द्वारा विभिन्न योजनाओं में ऋण वितरण किया जा रहा है। जिसके आदेश बैंकों एवं विभागीय अधिकारियों को दे दिये गये हैं। स्वरोजगार योजना से उम्मीद जगी है कि कई समितियां एवं बैंक घाटे से उभरने में सफल रहेंगे। उन्होंने बताया कि जिन स्थानों पर सहकारी समितियां समायोजित की जायेंगी वहां पर बहुउद्देशीय सेवा केंद्र स्थापित किये जायेंगे। बैठक में समितियों में सदस्यता बढ़ाने पर भी जोर दिया गया तथा आवश्यकता अनुसार किसान उत्पादक संगठन (एफपीओ) के प्रस्ताव भी शीघ्र विभाग को भेजे जाने के निर्देश अधिकारियों को दिये गये। 

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