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जल्दी पैसा कमाने का लालच मामा-भांजे को ले पहुंचा सलाखों के पीछे

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देहरादून। पैसों के लालच में बुजुर्ग की गला दबाकर हत्या करने के मामले में पुलिस ने दो लोगों को गिरफ्तार कर उनके कब्जे से घटना में प्रयुक्त कार, चार लाख रूपये व अन्य सामान बरामद कर लिया। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने बताया कि संजय कुमार निवासी रामनगर लखनऊ ने थाना रायपुर में एक प्रार्थना पत्र दिया गया कि उनके चाचा जगदीश निवासी सरस्वती पुरम नथुवावाला ढांग रायपुर जो नत्थुवाला ढांग में किराये पर रहते थे। एक फरवरी से लापता है तथा उनका मोबाइल बन्द आ रहा था तथा उनके सम्बन्ध में मकान मालिक से जानकारी करने पर उसके द्वारा उनके 2-3 दिन से घर वापस न आने की जानकारी दी गई। पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी। जांच में सामने आया कि गुमशुदा जगदीश मूल रूप से रायबरेली के रहने वाले थे और देहरादून में खनन विभाग में सरकारी नौकरी से सेवानिवृत्त हुए थे। गुमशुदा के मोबाइल नम्बर व बैंक खातों की जांच की जांच करने पर गुमशुदा के पीएनबी बैंक खाते से यूपीआई के माध्यम से लगातार एक अन्य बैंक खाते में ट्राजेक्शन का होना पाया गया। जिस पर उक्त खातों की जानकारी करने पर उक्त खाते का मोहित नाम के व्यक्ति के नाम पर होना प्रकाश में आया तथा उक्त खाते को कुछ समय पूर्व ही खुलवाने के सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त हुई साथ ही गुमशुदा के परिचितों से जानकारी में गुमशुदा के द्वारा कीपैड वाला फोन इस्तेमाल करने तथा उन्हें आनलाइन बैकिंग के सम्बन्ध में जानकारी न होना प्रकाश में आया। पुलिस ने प्रकाश में आये संदिग्ध खाताधारक के सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त करते हुए उक्त संदिग्ध खाताधारक मोहित त्यागी को पूछताछ हेतु हिरासत में लिया गया। उससे सख्ती से पूछताछ करने पर उसके द्वारा अपने मामा प्रवीन कुमार के साथ मिलकर गुमशुदा बुजुर्ग जगदीश की हत्या कर शव को देवबंद की नहर में फेंकना स्वीकार किया गया। मोहित की निशानदेही पर पुलिस द्वारा उसके कब्जे से मृतक का सिम कार्ड, मृतक के खाते का साढे तीन लाख रूपये का 1 चौक, 3 लाख रूपये नगद तथा घटना में प्रयुक्त एक सैन्ट्रो कार बरामद की गयी। घटना में त्वरित कार्यवाही करते हुए पुलिस टीम द्वारा प्रकाश में आये दूसरे प्रवीण त्यागी को नूरपुर देवबन्द से गिरफ्तार किया गया, जिसकी निशानदेही पर उसके घर से 1 लाख 80 हजार रूपये नगद तथा मृतक जगदीश के पीएनबी बैंक की 5 लाख रूपये की एक एफडी बरामद की गयी। पूछताछ में मोहित त्यागी द्वारा बताया गया कि वह मूल रूप से देवबन्द सहारनपुर का रहने वाला है तथा वर्तमान में पुष्प विहार गुजरोंवाली चौक, थाना रायपुर देहरादून में किराये पर रह रहा है तथा रायपुर से गुजरोंवाली क्षेत्र में ईकृरिक्शा चलाने का कार्य करता है। उसकी मुलाकात 4 वर्ष पूर्व मृतक जगदीश से गुजरोवाला चौक पर हुई थी। मृतक से आपसी बातचीत के दौरान उसको मृतक जगदीश के अविवाहित होने तथा उनके आगे पीछे किसी के न होने की जानकारी प्राप्त हुई। साथ ही मृतक का अपने रिश्तेदारों से भी ज्यादा सम्पर्क न होना उसके संज्ञान में आया। मृतक जगदीश को मुँह का कैंसर था, जिस कारण वो हमेशा अपने मुंह पर मास्क लगाकर रखते थे। मोहित ने जगदीश के खाते से पैसे निकालने की योजना बनाई तथा योजना में सहारनपुर के रहने वाले अपने मामा प्रवीण त्यागी को काफी पैसा मिलने का लालच देते हुए शामिल कर लिया। योजना के मुताबिक मोहित द्वारा मृतक जगदीश को देवबंद में कैंसर के एक अच्छे डाक्टर के होने तथा उसके इलाज से उनकी बीमारी को जड से खतम होने के बारे में बताते हुए उन्हें सहारनपुर चलने के लिये राजी किया गया। देवबंद में उनके द्वारा मृतक जगदीश की रस्सी से गला दबाकर हत्या कर दी तथा मृतक के शव को अपनी कार की डिग्गी में डालकर देवबंद की नहर में फेंक दिया गया। जिसके बाद उन्होंने मृतक के यूपीआई कोड के माध्यम से बैंक से 13 लाख रूपये निकाले थे।

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